
आबूरोड,( सिरोही) रिपोर्ट सविता बैंन (Kotdatimes)
दोयतरा ग्राम पंचायत के गोयली खेतरफली में मूंगलाराम पुत्र सामीराराम गमेती के घर में खरीफ की मक्का समेत जलकर तबाह हुई आधारभूत जरूरतें। विद्युत से वंचित अंधेरे से जूझ रहे घरों में वैकल्पिक तौर पर दिया गया सौभाग्य योजना का बैटरी से उजाला करने की व्यवस्था अब तक 39 घरों को तबाही का मंजर दिखा गई है।
रोशनी के दिन उजाले की व्यवस्था ने गरीब घर की दिवाली की काली:-
दीपावली के दिन 4 नवंबर दोपहर 3:00 बजे दोयतरा ग्राम पंचायत के गोयलीखेतरफली निवासी मूंगलाराम पुत्र सामीरा राम गमेती के घर में रखी सौभाग्य योजना से प्रदत रात में उजाले के लिए दी गई सोलर बैटरी से तेज आवाज का विस्फोट धमाका हुआ। परिवार के लोग खेत में खेत सफाई व घास कटाई का कार्य कर रहे थे।
आवाज सुनकर सोच रहे थे, पटाखों की आवाज होगी, लेकिन पास के लोगों ने घर के ऊपर आग की उठती लपटें एवं धुएं का गुबार देखकर दुर्घटना की परंपरागत आवाज की हुंकार लगाई।

अनूठी भाषा का दुर्घटना संकेत सुनकर घर के परिजन एवं आसपास के लोग दौड़ पड़े। पहुंचने से पूर्व खरीफ की उत्पन्न घर में रखी मक्का खाक का कार्बन बन गई, अन्य जरूरी खाद्य सामग्री, गेहूं, बर्तन, बिस्तर, जेवरात, अनाज रखने की कोठियां, वह घर निर्मित में प्रयुक्त फर्नीचर, नकदी अन्य मूलभूत सामग्री व संसाधन तबाही के काले कोयले की मंजर का दृश्य ही रह गया |

जानकारी के बाद सरपंच हसियाराम ने मौके की नजाकत के बाद परिजनों के साथ रोहिडा थाने में दी घटना की रिपोर्ट:-
अपने ग्राम पंचायत क्षेत्र के गोयली खेतर मे विस्फोट की घटना की जानकारी मिलने के बाद सरपंच हसियाराम अन्य ग्रामीणों के साथ मौके पर पहुंचे नुकसान की सूची के साथ परिजनों के साथ रोहीडा थाने पहुंचे जहां लिखित रिपोर्ट प्रस्तुत की गई।
-38वा विस्फोट धमाका हुआ था मीन तलेटी पंचायत की थला फली में:-
6 महीने के भीतर क्षेत्र में विस्फोट का सिलसिला थम नहीं रहा है, इससे पूर्व मीन तलेटी पंचायत की मीण गांव की थलाफली में अंसार राम पुत्र बदरम गरासिया के घर में भयंकर विस्फोट हुआ था, जहां पर बिस्तर की रस्सियों से बढ़ रही आग पर नीम की पत्तियों से झपट कर आग पर काबू पा लिया गया था। पास में भंडारण था बाल बाल सूझबूझ से घटना से बचाव हुआ था।
क्षेत्र मे पहला विस्फोट रणोरा गांव में हुआ था जहां पर एक परिवार बेघर हो गया था, जिसकी मदद के लिए सरकारी सहायता नहीं मिलने पर कुछ व्हाट्सएप मूहिम चला कर ₹32000 की मदद प्रदान की गई थी।
नुकसान के एवज में नहीं मिली अब तक एक भी सरकारी सहायता :-
39 वी घटना से पूर्व विस्फोट से तबाह हुए घरों के परिजनों को अब तक किसी को कुछ भी सरकारी मदद नहीं मिलने से बेघर परिवारों के पुनर्वास की समस्या बनी हुई है।